निगम की दुकानें बनीं असामाजिक तत्वों की शरणस्थली, मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना का मकसद हुआ विफल

भिलाई। मुख्यमंत्री स्वालंबन योजना के तहत नगर पालिक निगम भिलाई द्वारा जवाहर नगर में लाखों रुपए की लागत से बेरोजगारों को स्वरोजगार देने के उद्देश्य से दुकानों का निर्माण कराया गया था लेकिन आज तक इन दुकानों का आवंटन बेरोजगारों को नहीं किया जा सका दुकान लेने बेरोजगार लगातार नगर निगम के चक्कर काटते रहे|

 लेकिन निगम अधिकारी उन्हें कभी दस्तावेज तो कभी अन्य कारणों से गुमराह कर वापस भेजते रहे वर्तमान में यह दुकान पूरी तरह से खंडहर में तब्दील हो चुकी है इन दुकानों पर असामाजिक तत्वों का कब्जा है शाम होते ही यहां असामाजिक गतिविधियां देखने को मिलती हैं वहीं जिन लोगों को दुकानों का आवंटन हुआ है उनके द्वारा यहां स्वयं व्यवसाय ना कर दूसरों को किराए पर देकर दुकान संचालित की जा रही है और इनसे किराया लेकर नगर निगम को संपत्तिकर का भुगतान भी नहीं किया जा रहा है।

आलू प्याज विक्रेताओं द्वारा इन दुकानों को अपने गोदाम में बदल गया है शराबखोरी करने का यह मुख्य स्थान बन चुका है नगर निगम की उदासीनता से ऐसी स्थिति देखने को मिली है बेरोजगार दुकान लेने भटकते रहे लेकिन उन्हें निराश होना पड़ा। दुकानों के साथ यहां बने चबूतरे भी टूट गए है। निगम की लापरवाही का खामियाजा बेरोजगार युवक भुगत रहे हैं।

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